महिला सशक्तिकरण राज्य सरकार की प्रतिबद्धता है। उक्त के दृष्टिगत ही राज्य सरकार द्वारा “कन्या सुमंगला योजना” लागू किये जाने का निर्णय लिया गया है। कन्या सुमंगला योजना का मुख्य उद्देश्य कन्या भ्रूण हत्या को समाप्त करना, समान लैंगिक अनुपात स्थापित करना, बाल विवाह की कुप्रथा को रोकना, बालिकाओं के स्वास्थ्य व शिक्षा को प्रोत्साहन देना, बालिकाओं को स्वावलंबी बनाने में सहायता प्रदान करना, बालिका के जन्म के प्रति समाज में सकारात्मक सोच विकसित करना है। “कन्या सुमंगला योजना” दिनांक 01.04.2019 से लागू की जायेगी।
2- “कन्या सुमंगला योजना” के अन्तर्गत लाभार्थी की पात्रता निम्नवत निर्धारित है:-
1- लाभार्थी का परिवार उत्तर प्रदेश का निवासी हो तथा उसके पास स्थायी निवास प्रमाण पत्र हो, जिसमें राशन कार्ड/आधार कार्ड/वोटर पहचान पत्र/विद्युत/ टेलीफोन का बिल मान्य होगा।
2- लाभार्थी की पारिवारिक वार्षिक आय अधिकतम रु0-3.00 लाख हो।
3- किसी परिवार की अधिकतम दो ही बच्चियों को योजना का लाभ मिल सकेगा।
4- लाभार्थी के परिवार का आकार (साईज) परिवार में अधिकतम दो बच्चे हों।
5- किसी महिला को द्वितीय प्रसव से जुड़वा बच्चे होने पर तीसरी संतान के रूप में लड़की को भी लाभ अनुमन्य होगा। यदि किसी महिला को पहले प्रसव से बालिका है व द्वितीय प्रसव से दो जुड़वा बालिकायें ही होती हैं तो केवल ऐसी अवस्था में ही तीनों बालिकाओं को लाभ अनुमन्य होगा।

6- यदि किसी परिवार ने अनाथ बालिका को गोद लिया हो, तो परिवार की जैविक संतानों तथा विधिक रूप में गोद ली गयी संतानों को सम्मिलित करते हुये अधिकतम दो बालिकायें इस योजना की लाभार्थी